Simran Ansari

Add To collaction

मां तेरा आंचल

ओ मां तेरा आंचल जो मिला हम को


आंखें खोलते ही इस दुनिया में,

खुशनसीब है हम जो रहे बरसों 

तेरे इसी आंचल के साए में;

मिली खुशियां हज़ार हमें यहां

गम के तो साए भी रहें दूर हमसे

तेरे आंचल के साए में लिपट के

ख्वाबों की दुनिया में सोए सुकून से

रहे हमेशा साथ तेरा

सिर पर दुआओं का हाथ तेरा

और रहे सलामत तेरा यह आंचल भी

है यही तो सब कुछ मेरा!



समाप्त।।।

Simrana

   7
4 Comments

Punam verma

29-Nov-2021 10:09 PM

Waaah

Reply

Seema Priyadarshini sahay

24-Sep-2021 10:20 PM

बहुत खूबसूरत रचना

Reply

Gunjan Kamal

24-Sep-2021 09:36 PM

वाह मैम बहुत खूब👏👏🙏🏻

Reply